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हेयरलॉस/गंजापन: कारण, लक्षण, और उपचार

hairloss

क्या आपके भी बाल झड़ रहे हैं और बाल सवांरने के बाद काम्ब को देखने पर हर बार आपको निराश होना पड़ता है. अगर हां, तो आपने इंटरनेट एकदम सही पन्ना खोला है. दुनिया से शायद ही कोई ऐसी जगह हो जहां के लोग बाल झड़ने की समस्या का सामना न करते हो. Hair loss एक वाइडस्प्रेड प्रॉब्लम है. अमेरिकन एकेडमी ऑफ डर्मेटोलॉजिस्ट के मुताबिक, एक दिन में 50 से 100 बालों का गिरना पूरी तरह से सामान्य बात है. ऐसा होने पर बहुत अधिक चिन्ता करने की जरूरत नहीं है. लेकिन अगर प्रतिदिन बालों के गिरने की संख्या इससे कहीं ज्यादा है तो निश्चित ही ये चिन्ता का विषय है. ऐसा होने पर तुरन्त इलाज के बारे में सोचना चाहिए. 

बाल झड़ना या गंजापन (hair loss or baldness) न केवल हमारी शरीर पर बुरा प्रभाव छोड़ता बल्कि हमारे कॉन्फिडेंस को भी प्रभावित करता है. इससे हमारी पर्सनल लाइफ के साथ साथ हमारी प्रोफेशनल लाइफ पर बुरा असर पड़ता है. अनुवांशिकता, तनाव, हार्मोनल इमबैलेन्स, थायरायड सहित ऐसे दर्जनों कारण हैं जिनके चलते सामान्य से अधिक बाल झड़ना शुरू हो सकते हैं. धीरे धीरे बालों का पतला होना, सिर बिना बालों का पैच दिखना, हेयरलाइन का लगातार घटना जैसे अनेकों ऐसे पैटर्न हैं जिनसे बाल झड़ना शुरू होता है. इलाज करने के लिए बाल झड़ने के कारणों का पता करना सबसे ज्यादा जरूरी है. सरल शब्दों में, बिना कारणों का पता लगाए किसी भी बीमारी का इलाज करना असम्भव होता है.

अगर इलाज की बात की जाए, तो hair loss, baldness के इलाज के लिए होम्योपैथ, आयुर्वेद, एलोपैथ, और घरेलू नुस्खों का सहारा लिया जाता है. लेकिन जैसा कि हमने ऊपर कहा बिना कारण जाने किसी भी बीमारी का इलाज नहीं किया जा सकता है. कई बार लोग ट्रीटमेंट के इन सारे तरीकों को आजमाने के बाद फायदा न होने पर निराश हो जाते है.  

इस आर्टिकल में बाल झड़ने के बारे में ऐसी जानकारी दी है जो बाल झड़ने की बीमारी का इलाज करते समय सही ट्रीटमेंट डिजिशन लेने में आपकी बहुत मदद कर सकती है. सही तरह से लिया गया ट्रीटमेंट बीमारी को खत्म कर देता है.

हेयर ग्रोथ साइकिल (Hair growth Cycle) क्या है?

बालों के बढ़ने, घटने और स्थायी होने तीनों को मिलाकर हेयर ग्रोथ साइकल कहा जाता है. ये हेयर ग्रोथ साइकल को तीन फेस में बांटा गया है. हेयर ग्रोथ साइकल के तीनों फेस के बारे में हमने नीचे जानकारी दी हुयी है. इससे आपको अपने बालों के बढ़ने, और कम होने के बारे में एक समझ बनाने में मदद मिलेगी.  

एनाज़ेन (Hair Growth Cycle) 

बालों का बढ़ने को खासकर इस फेस में रखा जाता है. यह दो से आठ साल तक के बीच का होता है. एनाजेन हेयर में हाई माइटोटिक रेट पाया जाता है और ये हेयर ह्यूमन बॉडी में सबसे तेजी से रेप्लीकेट करने वाली सेल्स होती हैं. बाल हेयर बल्ब से ओरिजिनेट होते हैं. ये हेयर बल्ब लोवर डर्मिस में पाए जाते हैं. एक्टोडिसप्लेसिन के साथ डेल्टा और नॉच जीन्स बालों के बढ़ने के लिए सीधे जिम्मेदार हो सकती हैं. स्कैल्प हेयर एक महीने में 1.3 सेन्टीमीटर तक बढ़ता है.  

कैटाज़ेन (Hair Growth Cycle)

कैटाज़ेन फेज़ हेयर ग्रोथ के रूकने पर आता है. परिणामस्वरूप माइटोसिस, और अपोप्टोसिस रूक जाते हैं और हेयर बल्ब लोवर डर्मिस से ऊपर की तरफ मिड डर्मिस में शिफ्ट होने लगते हैं. हेयर शाफ्ट नीचे इकट्ठा होने लगते हैं जिससे कैटाज़ेन हेयर टैलोज़ेन हेयर में बदलने लगते हैं. टैलोज़ेन हेयर फॉलिकल में दो से तीन महीने तब तक रहते हैं जब तक नए बाल उन्हें धक्का देकर बाहर नहीं कर देते. हेयर ग्रोथ साइकल का ये फेज़ दो से तीन सप्ताह तक का होता है.

टैलोज़ेन (Hair Growth Cycle)

हेयर ग्रोथ साइकल का ये अन्तिम फेज़ होता है जो लगभग दो से तीन महीने तक चलता है. इस फेज़ में हेयर शाफ्ट क्लब हेयर में मैच्योर हो जाता है जो अन्त में फॉलिकल से अलग हो जाता है. सरल शब्दों में, इस फेज़ के खत्म होते होते बाल झड़ते हैं और उनकी जगह नए बाल ले लेते हैं.

हेयर लॉस (Hair loss) के कौन से कारण हैं ?

एलोपेसिया एरीटा (Alopecia Areata) 

अतिसंवेदनशील बालों के रोम में टेस्टोस्टेरोन मेटाबोलाइट्स के बुरे असर की वज़ह से महिलाओं और पुरुषों में कॉमन बॉल्डिंग (एंड्रोजेनिक एलोपेसिया) होती है. बालों के रोम अनुवांशिक कारणों से अतिसंवेदनशील होते हैं. गंजेपन (Baldness) की बढ़ती समस्या का ये एक बड़ा कारण माना जाता है. ऐसी स्थिति का सामना करने पर गंजेपन का इलाज लेना शुरू कर देना चाहिए.     

एलोपेसिया यूनिवर्सालिस (Alopecia Universalis) 

धीरे धीरे शरीर के बालों का झड़ने (Hair loss) को मेडिकल लैंग्वेज में एलोपेसिया यूनिवर्सलिस कहा जाता है. शरीर के बाल जब पूरी तरह झड़ जाते हैं तो उस मेडिकल सिचुएशन को एलोपेसिया टोटलिस कहा जाता है. इलाज करने एलोपेसिया कुछ महीनों में ठीक हो जाता है. इसलिए एलोपेसिया के सिम्टम दिखने पर तुरन्त इलाज करना शुरू कर देना चाहिए.   

एंड्रोजेनिक एलोपेसिया (Androgenic Alopecia) 

एंड्रोजेनिक एलोपेसिया महिलाओं और पुरुष दोनों को हो सकता है. ये अनुवांशिक रूप से होता है. पुरूषों में होने पर इसे मेल पैटर्न बॉल्डनेस (Baldness) कहा जाता है. किशोरवास्था में इसके कारण बाल झड़ना शुरू हो सकता है. इसमें सिर और सिर के सामने के बाल धीरे धीरे झड़ने (Hair loss) लगते हैं. महिलाओं में होने पर बाल पतले होकर गिरने लगते हैं. ऐसा होने इलाज लेना शुरू कर देना चाहिए. 

टेलोज़ेन एफ्लूवियम (Telogen Effluvium) 

टेलोज़ेन एफ्लूवियम में बाल तेजी से झड़ने लगते हैं. खासकर आघात, सदमा, तनाव, या बीमारी से गुजरने पर टेलोज़ेन एफ्लूवियम होता है. डेलीवरी, सर्जरी, कुछ दवाएं खाने, क्रैश डॉयटिंग, एक्सेसिव टेन्शन, या थॉयरायड डिसार्डर के कारण बाल टैलोज़न तक पहुंच जाते हैं. इसमें बाल पहले पतले होते हैं फिर गिर जाते हैं. ऐसी स्थिति का सामना करने पर इलाज शुरू कर देना चाहिए.       

टिनया कैपिटिस (Tinea Capitis) 

त्वचा और सिर के बालों के रोम के अन्दर पैदा होने वाले दाद संक्रमण को मेडिकल लैंग्वेज में टिनिआ कैपिटिस कहा जाता है. ये एक फंगल इंफेक्शन है जो त्वचा में होता है. सिर में होने पर इसके कारण बाल तेजी (Hair loss) से गिरने लगते हैं.  

स्कैल्प एग्जिमा (Scalp Eczema) 

खुजली, सूजन, और रूखी त्वचा की वजह से सिर में स्कैल्प एग्जिमा होता है. इसका सबसे आम रूप सेबोरहाइक डर्मटाइटिस सबसे ज्यादा परेशानी का कारण होता है. आमतौर पर ये त्वचा के तेलीय एरियाज़ में होता है. ये चेहरे और पीठ पर भी हो सकता है.    

डैंड्रफ (Dandruff) 

सबसे ज्यादा रूसी या डैड्रफ की वजह से लोगों के बाल झड़ते हैं. ड्राई स्कैल्प, ऑयली बाल, गंदगी, मौसम में बदलाव, या खराब देखभाल जैसे अन्य कई कारणों से डैंड्रफ होता है. ऐसे में बालों की सही देखभाल करना चाहिए. 

स्कैल्प इन्फेक्शन (Scalp Infection) 

बैक्टीरियल या फंगल इन्फेक्शन की वजह से स्कैल्प इन्फेक्शन होता है. फंगस या बैक्टीरिया बालों के रोम या क्षतिग्रस्त त्वचा के जरिए सिर में घुस जाते हैं और सिर को संक्रमित कर देते हैं. इसकी वजह से तेजी से hair loss होता है. ये एक मेडिकल सिचुएशन है जिसका इलाज करना जरूरी होता है. 

हेयर लॉस (Hair loss or baldness) कब होता है?

  • अनुवांशिक या हेयर लॉस की फैमिली हिस्ट्री होने पर
  • कैंसर के इलाज के लिए रेडिएशन या रेडियो थेरेपी लेने पर 
  • प्रेग्नेंसी, डेलीवरी, मैनोपाज़, और थॉयरायड डिसार्डर से हुए हार्मोनल इमबैलेन्स होने पर
  • दाद जैसी मेडिकल कंडीशन में 
  • कीमोथेरेपी, गठिया, हर्ट, हाई ब्लड प्रेशर, और डिप्रेशन की दवाएं लेने पर
  • तनाव 
  • बीमारी 
  • एक्सेसिव हेयर स्टाइलिंग 
  • केमिकल हेयर ट्रीटमेंट

हेयर लॉस (Hair loss) से जुड़े इमपार्टेन्ट स्टैटिक्स क्या हैं?

  • एवरेज पर्सन के 100,000 बाल होते हैं. इनमें हर हेयर फॉलिकल की अपनी मसल्स होती हैं जो इन्डीविजुअली रिएक्ट करने में सक्षम होती हैं. ब्राउन हेयर वाले लोगों के 110,000 बाल होते हैं जबकि रेडहेड लोगों में बालों के नम्बर 90,000 होते हैं. ब्लान्ड हेयर वाले लोगों के 150,000 बाल होते हैं. 
  • एक इन्डीविजुअल हेयर भीगा होने पर लगभग 30 परसेन्ट स्ट्रेच करता है. प्रोटीन डिफिसियन्सी होने पर हेयर स्ट्रेच नहीं करता. ऐसा होने पर अपने बालों का ट्रीटमेंट करना चाहिए. 
  • हेयर सबसे तेज ग्रो करने वाले टिस्सू हैं. इनसे ग्रो करने वाला तेज ह्यूमन बॉडी में कोई दूसरा टिस्सू नहीं है. 
  • इस समय आपके लगभग 90 परसेन्ट हेयर फॉलिकल एनाज़ेन फेज़ में हैं. बाकि 10 परसेन्ट हेयर फॉलिकल कैटाज़ेन और टैलोज़ेन फेज़ में हैं. 

बाल झड़ने (Hair loss or baldness) का क्या इलाज है?

  1. किसी इनहेरेन्ट रीज़न की वज़ह से बाल झड़ने पर डाक्टर से सलाह लें. बिना इनहेरेन्ट रीजन या बीमारी को ठीक किए बाल झड़ना रोका नहीं जा सकता. इसलिए इसका इलाज करना ज़रूरी होता है. 
  2. दवा के सेवन से भी बाल झड़ सकते हैं. ऐसा होने पर डॉक्टर से सलाह लें. डॉक्टर उस दवा की जगह पर दूसरी कोई ऐसी दवा लेने की सलाह दे सकते हैं जिससे बाल न झड़ते हों.  
  3. प्रेग्नेंसी, और तनाव के कारण हार्मोनल चेंज से भी बाल झड़ सकते हैं. ऐसी स्थिति में बालों का झड़ना कुछ समय बाद अपने आप ही रूक जाता है. आमतौर पर इसके लिए अलग से किसी तरह के इलाज की जरूरत नहीं पड़ती है.
  4. केमिकल ट्रीटमेंट से भी बाल झड़ते हैं. इसलिए अपने बालों पर किसी तरह का केमिकल ट्रीटमेंट लेना अवाइड करें. केमिकम ट्रीटमेंट से बचने से बालों का झड़ना कुछ हद तक रोका जा सकता है.    
  5. आवश्यक पोषण की कमी की वजह से भी बाल झड़ते हैं. ऐसे में डॉक्टर की सलाह इम्पार्टेन्ट हो जाती है. डॉक्टर ऐसी स्थिति में मल्टीविटामिन और दूसरे सप्लीमेंट्स के सेवन की सलाह देते हैं.
  6. बाल झड़ने से रोकने में कुछ दवाएं मदद कर सकती हैं. इन दवाओं में मिनोक्सिडिल, फिनस्टरीडे, ड्यूटैस्टराइड, और स्पिरोनोलैक्टोन शामिल हैं. इन दवाओं को डॉक्टर की सलाह से लेने पर बाल झड़ना रोकने में मदद मिलती है.  
  7. बाल झड़ने (Hair loss or baldness) का एक इलाज ट्रांसप्लांट है. इसमें सिर के एक स्थान के बालों को दूसरे खाली स्थानों पर ट्रांसप्लांट किया जाता है. 
  8. अनुवांशिक कारणों से बालों के झड़ने को रोकने के लिए लेज़र थेरेपी का इस्तेमाल किया जाता है. इसमें लो लेवल लेज़र डिवाइस का इस्तेमाल किया जाता है. 

हेयर लॉस (Hairloss or Baldness) रोकने के लिए क्या करें?

बालों को सही तरीके से धोएं 

बालों को धोने के लिए साफ्ट और केमिकल फ्री शैम्पू का ही इस्तेमाल करें. बाल धुलने के बाद मॉस्चराइजिंग कंडिशनर का इस्तेमाल करें. ये बालों पर एक परत बनाता है जिससे बालों का टूटना कम हो जाता है. धुलने के बाद बालों माइक्रोफाइबर टॉवेल में लपेंटकर जल्दी सुखाएं. बाल को सुखाने के लिए नेचुरल तरीके का ही इस्तेमाल करें. इस तरह से धोने और धोने के बाद बालों का ख्याल रखने से पतले और नाजुक बाल कम से कम डैमेज होंगे. 

केमिकल स्ट्रेटनिंग, ट्रीटमेंट अवाइड करें 

केमिकल स्ट्रेटनिंग और कलर बालों को बहुत नुकसान पहुंचाते हैं. अपने बालों पर इन चीजों का इस्तेमाल करने से बचें. अगर आप इनका इस्तेमाल कर भी रहें हैं तो मॉस्चराइजिंग कंडीशनर का इस्तेमाल करें. हेयर ड्रायर की जगह अपने बालों को नेचुरल तरीके से सुखाएं. 

बालों को टाइट न बाधें

टाइट बांधने से भी बाल झड़ना शुरू हो सकते हैं. ऐसी हेयर स्टाइल रखें जिससे बालों पर ज्यादा तनाव न पड़ें. जरूरत से ज्यादा तनाव भी बालों के झड़ने का कारण बन सकता है. 

ब्लड सर्कुलेशन सही रखें

बालों में धीरे धीरे कंघी औऱ मालिश करें. इससे बालों का ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है और उनकी हेल्थ बेहतर होती है. 

धूम्रपान न करें

धूम्रपान करने से शरीर के कई हिस्सों में अक्सर सूजन हो जाती है जिससे बाद में बाल भी झड़ने लगते हैं. इसलिए अगर आपके बाल झड़ रहे हैं तो तुरन्त धूम्रपान को रोक देना चाहिए. 

सही डॉयट लें

खाने में आयरन, प्रोटीन, कैलोरी की रोज सही मात्रा लें. इसके अलावा बालों के लिए सप्लीमेंट्स का भी इस्तेमाल किया जा सकता है. इससे न केवल बाल का झड़ना रोकने बल्कि नए बालों की ग्रोथ में भी मदद मिलेगी. इसलिए खासकर अपनी रोज की डॉयट पर ज्यादा ध्यान दें.  


Frequently Asked Questions -

हेयर लॉस किस कारण से होता है?

हेयर लॉस बहुत कॉमन और वाइडस्प्रेड प्रॉब्लम है. दुनिया में शायद ही ऐसी कोई जगह हो जहां के लोगों को इस समस्या का सामना न करना पड़ता हो. बीमारी, सर्जरी, तनाव, प्रेग्नेंसी, थॉयरायड डिसार्डर, एक्सेसिव केमिकल ट्रीटमेंट, सिफलिस, एलोपेसिया एरीटा सहित अन्य कई कारणों से हेयर लॉस की समस्या होती है. 

एक्सेसिव हेयर लॉस कन्ट्रोल कैसे करें?

केमिकल फ्री साफ्ट शैम्पू से बाल धोएं, बाल धोने के बाद मॉस्चराइजिंग कंडीशनर लगाएं, गीले बालों को माइक्रोफाइबर टॉवेल में लपेटें, बाल को नेचुरल तरीके से सुखाएं, ध्रूम्रपान बन्द कर दें, डॉयट में प्रोटीन, ऑयरन, और कैलोरी की सही मात्रा लें, ऐसी हेयर स्टाइल को चुनें जिसमें बालों पर ज्यादा तनाव न पड़े. ऐसे और कई तरीके हैं जिनकी मदद आप अपने हेयर लॉस को कन्ट्रोल कर सकते हैं.

बाल पतले क्यों होते हैं?

गंजेपन की फैमिली हिस्ट्री, हार्मोंनल इमबैलेन्स, मेडिकल कंडीशन, उम्र बढ़ने या अन्य कई कारणों से बाल पतले होकर गिर जाते हैं. पुरूष या स्त्री दोनों के बाल पतले होकर गिर सकते हैं. लेकिन महिलाओं की अपेक्षा पुरुषों में बाल का पतला होकर गिरना ज्यादा पाया जाता है. 

किस विटमिन की कमी से हेयर लॉस होता है?

विटामिन बी 9 की कमी से हेयर लॉस होता है जिसमें फोलिक एसिड पाया जाता है. फोलिक एसिड बालों की ग्रोथ के सबसे ज्यादा फायदेमंद होता है. इसके अलाव प्रोटीन, ऑयरन औऱ कैलोरी की पर्याप्त मात्रा भी बालों के लिए बहुत ज़रूरी है. अच्छे बालों के लिए डॉयट में इन सारी चीजों का लेना बेहद जरूरी होता है. 


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